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Friday, October 9, 2020

54 हजार जवानों की भर्ती प्रक्रिया दो साल से लंबित, पुरानी भर्ती अटक रही और एक लाख पद हो गए खाली

54 हजार जवानों की भर्ती प्रक्रिया दो साल से लंबित, पुरानी भर्ती अटक रही और एक लाख पद हो गए खाली।

नई दिल्ली : सुरक्षा बलों में बड़े पैमाने पर रिक्तियों के बावजूद नियुक्ति की रफ्तार सुस्त है। 1. सभी सुरक्षा बलों में 2018 में 54,953 जवानों की भर्ती के लिए प्रक्रिया शुरू हुई थी। लिखित और फिजिकल परीक्षा होने के बावजूद अब तक रिक्त पदों को नहीं भरा जा सका है। 


सूत्रों का कहना है कि रिव्यू मेडिकल की प्रक्रिया चल रही है। सरकार चाहती है कि जल्द से जल्द प्रक्रिया पूरी हो। उधर, अर्धसैन्य बलों से जुड़े एक संगठन ने नियुक्ति में देरी के मामले को गृह मंत्रालय और प्रधानमंत्री कार्यालय के सामने उठाया है। वर्ष 2018 में पुरुष वर्ग के तहत बीएसएफ में 14,436, सीआईएसएफ 180, सीआरपीएफ 19,972, एसएसबी में 6,521, आईटीबीपी में 3,507 और एआर में 2,311 पद रिक्त थे। इनका विज्ञापन अगस्त, 2018 में जारी किया गया था। कुल 47,307 पद पुरुष वर्ग में कांस्टेबल के लिए खाली बताए गए थे। महिलाओं के लिए 7,646 पद पर भर्ती के विज्ञापन जारी हुए थे।


वर्ष 2018 में विज्ञापन कुल रिक्त पद 54,953 थे। इनमें से 8,172 पद एससी श्रेणी के हैं, जबकि 4,325 पद एसटी के लिए। ओबीसी के लिए 10,215 खाली बताए गए थे। कुल 24,595 पद अनारक्षित श्रेणी में भरे जाने थे।

पुरानी भर्ती अटकी रही और एक लाख पद हो गए खाली

दो साल से लंबित भर्ती के बीच रिटायरमेंट और अन्य वजहों से खाली पदों की संख्या बढ़कर एक लाख पार कर चुकी है। इसकी जानकारी गृह मंत्रालय ने संसद में दी थी। केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने बताया था, सीमा सुरक्षा बल में सबसे अधिक रिक्तियां (28,926) हैं। इसके बाद केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल में (26,506), केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल में (23,906), सशस्त्र सीमा बल में 18,643), भारत तिब्बत सीमा पुलिस में (5,784) और असम राइफल्स में (7328) पद रिक्त हैं।

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