पीसीएस- 2018 : स्केलिंग पर नहीं मिला जवाब, छात्रों ने निकाला कैंडल मार्च, जारी रहेगा आंदोलन।
प्रयागराज। पीसीएस-2018 में स्केलिंग को लेकर विवाद गहराता जा रहा है। प्रतियोगी छात्रों ने 20 अक्तूबर को उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग में प्रदर्शन कर आयोग से पूछा था कि पीसीएस-2018 में विज्ञापन के अनुरूप स्केलिंग लागू की गई या नहीं। जवाब न मिलने से नाराज प्रतियोगी छात्रों ने देर रात डेलीगेसी में कैंडल मार्च निकालकर अपना विरोध दर्ज कराया।
छात्रों ने यह मार्च फौव्वारा चौराहा से बेली चौराहा होते हुए निगम चौराहा तक निकाला। प्रतियोगी छात्रों का कहना है कि इस बार त्योहार पर वे अपने घर नहीं जाएंगे, बल्कि डेलीगेसी में ही रहकर आंदोलन को जारी रखेंगे। उत्तर प्रदेश प्रतियोगी छात्र मंच के बैनर तले जुटे प्रतियोगी छात्र पीसीएस-2018 में पैटर्न में हुए बदलाव से प्रभावित अभ्यर्थियों को दो अतिरिक्त अवसर दिए जाने की मांग भी कर रहे हैं। साथ ही केवल यूपी की महिलाओं को 20 फीसदी महिला आरक्षण का लाभ दिए जाने और अन्य राज्यों के अभ्यर्थियों का कोर्ट सिर्फ पांच फीसदी निर्धारित किए जाने की मांग कर रहे हैं।
पीसीएस-2018 के परिणाम से असंतुष्ट अभ्यर्थियों का आरोप है कि आयोग ने मुख्य परीक्षा में विज्ञापन की शर्तों के अनुरूप स्केलिंग लागू नहीं की और इसी वजह से बड़ी संख्या में हिंदी माध्यम एवं मानविकी विषय के अभ्यर्थी मेरिट से बाहर हो गए। इन तमाम मुद्दों को लेकर प्रतियोगी छात्रों ने 20 अक्तूबर से आंदोलन की शुरुआत की है। आंदोलन को सफल बनाने के लिए शनिवार को भी डेलीगेसियों में जनसंपर्क किया गया। उत्तर प्रदेश प्रतियोगी छात्र मंच के अध्यक्ष संदीप सिंह का कहना है कि इस बार ज्यादातर प्रतियोगी छात्र दशहरा की छुट्टी पर घर नहीं गए। छात्रों को स्केलिंग के मुद्दे पर आयोग से जब तक लिखित जवाब नहीं मिलता, उनका आंदोलन जारी रहेगा।
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