SSC की भर्तियों में पांच स्तर पर आधार से सत्यापन
प्रयागराज । केंद्र सरकार के मंत्रालयों, कार्यालयों एवं विभागों में होने वाली भर्तियों को और अधिक पारदर्शी बनाने के उद्देश्य से कर्मचारी चयन आयोग (एसएससी) ने आधार सत्यापन को लागू किया है। खास बात यह है कि भर्ती के प्रत्येक चरण में अभ्यर्थियों का आधार से सत्यापन कराया जाएगा ताकि किसी तरह के फर्जीवाड़े की कोई गुंजाइश ने रहे।
एसएससी की ओर से शुक्रवार को आधार के उपयोग की रूपरेखा संबंधी नीति जारी की गई। आयोग ने साफ किया है कि परीक्षा प्रक्रिया के विभिन्न चरणों में अभ्यर्थियों की पहचान की पुष्टि करना आवश्यक है, ताकि चयन प्रक्रिया की शुचिता बनी रहे। पारंपरिक विधियों जैसे कि फोटो और बायोमेट्रिक सत्यापन पहले से ही प्रचलन में हैं, लेकिन आधार-आधारित प्रमाणीकरण एक अतिरिक्त और अधिक सशक्त प्रणाली साबित होगी। वैसे तो आधार प्रमाणीकरण एक स्वैच्छिक विकल्प बना रहेगा लेकिन आयोग अभ्यर्थियों को इस सुविधा का लाभ उठाने के लिए प्रोत्साहित करता है। गलत तथ्य या जाली दस्तावेज प्रस्तुति करने पर सख्त कार्रवाई की जाएगी, जिसमें अयोग्यता भी शामिल है।
आधार न देने पर कई दस्तावेज देने होंगे
जो अभ्यर्थी आधार प्रस्तुत नहीं करना चाहते, उन्हें नाम, पिता का नाम, लिंग, जन्म तिथि, पता और फोटोग्राफ विवरणों के समर्थन में दस्तावेज़ अपलोड करने होंगे। इसके लिए स्वीकृत दस्तावेज़ों में पैन कार्ड, पासपोर्ट, मतदाता पहचान पत्र, ड्राइविंग लाइसेंस, जन्म प्रमाण पत्र, स्कूल प्रमाण पत्र, यूटिलिटी बिल, बैंक पासबुक, किराया समझौता और हाल ही में खिंचवाया गया पासपोर्ट आकार का फोटो शामिल हैं। ये दस्तावेज स्पष्ट, अपडेट और सत्यापन योग्य होने चाहिए। ऐसे अभ्यर्थियों को परीक्षा के दिन केंद्र का गेट बंद होने के समय से कम से कम दो घंटे पहले रिपोर्ट करना आवश्यक होगा।
आधार प्रमाणीकरण का विकल्प चुनने में फायदा
प्रमाणीकरण के दौरान, अभ्यर्थियों की सहमति से ई-केवाईसी विवरण जैसे कि नाम, पिता का नाम, लिंग, जन्म तिथि, पता और फोटोग्राफ प्राप्त किए जा सकते हैं, ताकि सत्यापन और आवेदन प्रक्रिया को सुगम बनाया जा सके। जो अभ्यर्थी आधार प्रमाणीकरण का विकल्प चुनते हैं, उन्हें परीक्षा प्रक्रिया के दौरान कम जांच का सामना करना पड़ेगा। केवल फोटो या हस्ताक्षर में विसंगति के आधार पर ऐसे अभ्यर्थियों का आवेदन अस्वीकार नहीं किया जाएगा। उन्हें परीक्षा केंद्र में प्रवेश के लिए निर्धारित समय के करीब भी आने की अनुमति दी जाएगी, क्योंकि भौतिक सत्यापन औपचारिकताएं न्यूनतम होंगी।
इन चरणों में सत्यापन
● एकल अवसरीय पंजीकरण (ओटीआर) के समय आधार ओटीपी आधारित प्रमाणीकरण
● आवेदन जमा करते समय आधार फेस प्रमाणीकरण
● परीक्षा में सम्मिलित होने के समय आधार फिंगरप्रिंट या आइरिस आधारित बायोमीट्रिक प्रमाणीकरण
● शारीरिक दक्षता/मानक परीक्षणों या चिकित्सा परीक्षणों के समय आधार प्रमाणीकरण
● दस्तावेज़ सत्यापन और अंतिम नियुक्ति के समय फिर से आधार प्रमाणीकरण
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