प्रवेश परीक्षाएं पेन-पेपर मोड में हों, संसदीय समिति ने की सिफारिश, कहा- एनटीए के प्रदर्शन से भरोसा नहीं जगा, सीबीटी सरकारी केंद्रों पर ही कराने की सिफारिश
नई दिल्ली। एक संसदीय समिति ने सिफारिश की है कि पेन और पेपर मोड में प्रवेश परीक्षाएं आयोजित करने पर अधिक ध्यान दिया जाना चाहिए क्योंकि सीबीएसई बोर्ड और यूपीएससी परीक्षाओं के पेपर कई वर्षों से लीक-प्रूफ रहे हैं। समिति ने यह भी कहा कि बीते वर्ष में एनटीए के प्रदर्शन से भरोसा नहीं जगा है।
कांग्रेस सांसद दिग्विजय सिंह की अध्यक्षता वाली शिक्षा, महिला, बाल, युवा और खेल संबंधी स्थायी समिति ने कहा कि अकेले 2024 में एनटीए द्वारा आयोजित 14 प्रतियोगी परीक्षाओं में से कम से कम पांच में बड़ी समस्याएं थीं। परिणामस्वरूप तीन परीक्षाएं- यूजीसी नेट, सीएसआईआर-नेट और एनईईटी-पीजी परीक्षाएं स्थगित करनी पड़ीं। एक परीक्षा यानी एनईईटी-यूजी में पेपर लीक की घटनाएं देखी गईं और एक परीक्षा-सीयूईटी (यूजी/पीजी) के परिणाम स्थगित कर दिए गए।
समिति ने बताया कि इस तरह के उदाहरण परीक्षार्थियों का सिस्टम में विश्वास नहीं जगाते हैं। इसलिए समिति सिफारिश करती है कि एनटीए जल्दी से इस तरह की समस्याओं को दुरुस्त करे ताकि ऐसी घटनाएं दोबारा न हों। रिपोर्ट में कहा गया है कि पेन और पेपर परीक्षाएं पेपर लीक के ज्यादा अवसर प्रदान करती हैं जबकि कंप्यूटर-आधारित परीक्षाओं (सीबीटी) को हैक किया जा सकता है कि उसका पता लगाना मुश्किल हो।
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