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Saturday, December 30, 2017

आयोग ने किया SC व ST अभ्यर्थियों के प्रारंभिक व मुख्य परीक्षा में मानक दक्षता तय, आरओ-एआरओ 2017 परीक्षा से निगेटिव मार्किग शुरू

6:48:00 PM

उप्र लोकसेवा आयोग ने प्रतियोगी परीक्षा में बड़ा कदम उठाया है। आयोग ने आरओ-एआरओ 2017 परीक्षा से ही निगेटिव मार्किंग शुरू कर दी है। यानी हर गलत प्रश्न का जवाब देने पर एक तिहाई (.33) अंक दंड रूप में काटे जाएंगे। यह कटौती अभ्यर्थियों के सही सवालों में से मिले अंकों से होगी। आयोग ने अनुसूचित जाति व अनुसूचित जनजाति अभ्यर्थियों का भी प्रारंभिक व मुख्य परीक्षा में दक्षता मानक तय कर दिया है। दोनों परीक्षाओं में तय फीसदी अंक न लाने वाले अभ्यर्थी श्रेष्ठता सूची से बाहर हो जाएंगे।

नया साल शुरू होने के एक दिन पहले ही आयोग ने प्रतियोगियों को परीक्षा सुधार का बड़ा तोहफा दिया है। शनिवार को समीक्षा अधिकारी सहायक समीक्षा अधिकारी (आरओ-एआरओ) 2017 का विज्ञापन जारी हुआ है। इसमें सामान्य चयन की 460 व विशेष चयन की पांच रिक्तियां घोषित हुई हैं। अभ्यर्थी शनिवार से ही ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। परीक्षा शुल्क बैंक में जमा करने की अंतिम तारीख 25 जनवरी 2018 तय की गई है, वहीं आवेदन स्वीकार करने की अंतिम तारीख 30 जनवरी, 2018 है। आयोग के सचिव जगदीश ने बताया कि परीक्षा में प्रत्येक प्रश्न के चार विकल्प होंगे उसमें गलत जवाब देने पर निगेटिव मार्किंग लागू होगी। यदि कोई अभ्यर्थी एक से अधिक उत्तर देता है तो उसे भी गलत माना जाएगा और तय दंड लागू होगा, भले ही उसमें से एक उत्तर सही हो। यदि अभ्यर्थी कोई प्रश्न हल नहीं करता है तो उससे कोई दंड नहीं लिया जाएगा।

सचिव ने बताया कि इस बार परीक्षा में अभ्यर्थियों के लिए न्यूनतम दक्षता मानक तय किया गया है। एससी व एसटी अभ्यर्थियों को प्रारंभिक व मुख्य परीक्षा में 30 फीसदी व अन्य वर्गो का न्यूनतम दक्षता मानक 40 फीसदी होगा। यानी इससे कम अंक पाने वाले अभ्यर्थी श्रेष्ठता सूची में शामिल नहीं होंगे।

रिक्तियां और कुल पद: उप्र सचिवालय, उप्र लोकसेवा आयोग व उप्र राजस्व परिषद में समीक्षा अधिकारी, उप्र सचिवालय में समीक्षा अधिकारी हंिदूी, समीक्षा अधिकारी उर्दू, उप्र सचिवालय, उप्र लोकसेवा आयोग व उप्र राजस्व परिषद में सहायक समीक्षा अधिकारी और उप्र लोकसेवा आयोग में सहायक समीक्षा अधिकारी लेखा में कुल 465 पदों पर भर्तियां होनी हैं।

‘ओ’ लेवल लागू, केंद्र निर्धारण पर मौन: प्रतियोगियों के विरोध के बाद भी एआरओ की परीक्षा में इस बार भी ‘ओ’ लेवल या समकक्ष प्रमाणपत्र की व्यवस्था लागू है। प्रतियोगी अवनीश पांडेय का कहना है कि इससे चयन में सारे पद नहीं भर पाते और समकक्षता के नाम पर गड़बड़ी होती रही है, फिर भी शासन ने इसे लागू किया है। वहीं, अभ्यर्थियों को मनचाहा परीक्षा केंद्र देने पर भी आयोग व शासन ने मौन साधा है।

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