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Monday, November 4, 2024

पीसीएस प्रारंभिक परीक्षा पर इसी सप्ताह निर्णय लेगा आयोग, मानकीकरण के विरोध में प्रतियोगी छात्र एकजुट

पीसीएस प्रारंभिक परीक्षा पर इसी सप्ताह निर्णय लेगा आयोग, मानकीकरण के विरोध में प्रतियोगी छात्र एकजुट


05 नवम्बर 2024
प्रयागराज : पीसीएस प्रारंभिक परीक्षा को लेकर जारी उहापोह की स्थिति को उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग (यूपीपीएससी) पर जल्द ही स्पष्ट करने का भारी दबाव है। प्रतियोगी छात्र दो दिवसीय परीक्षा के विरोध में है। आयोग को उप्र परीक्षा अध्यादेश के अनुसार केंद्र नहीं मिल रहे हैं। ऐसे में आयोग के सामने उचित निर्णय लेना बड़ी चुनौती है। हालांकि उम्मीद जताई जा रही है कि आयोग इसी सप्ताह परीक्षा को लेकर किसी निर्णय पर पहुंच सकता है।

दूसरी ओर प्रतियोगी छात्र दो दिवसीय परीक्षा और मानकीकरण के विरोध में बैठक कर आगे आंदोलन की रणनीति तैयार करेंगे। ऐसे में आयोग के सामने पीसीएस प्रारंभिक परीक्षा का आयोजन एक बड़ी चुनौती है। पीसीएस प्रारंभिक परीक्षा तीन वार टल चुकी है। पहले 17 मार्च को प्रस्तावित परीक्षा आरओ-एआरओ पेपर लीक कांड के कारण टल गई।


प्रयागराज। सम्मिलित राज्य प्रवर अधीनस्थ सेवा (पीसीएस) प्रारंभिक परीक्षा 2024 के संबंध में उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग इसी सप्ताह निर्णय लेने की तैयारी में है क्योकि दिसंबर के पहले सप्ताह में प्रारंभिक परीक्षा करानी है तो कम उसकी तैयारी के लिए कम से एक महीने का समय चाहिए होगा।

पूर्व में वायरल आयोग के पत्र में सात व आठ दिसंबर को दो दिन प्रारंभिक परीक्षा होने की संभावना बनी हुई है। इसी के साथ एक दिन से अधिक प्रारंभिक परीक्षा होने पर मानकीकरण (नॉर्मलाइजेशन) के विरोध में प्रतियोगी छात्र पूरी मजबूती से एकजुट होते दिख रहे हैं। छात्रों का मानना है कि जिस प्रकार की सूचनाएं आ रही हैं उसमें दो दिनी परीक्षा और मानकीकरण की संभावना ही ज्यादा है।

 पीसीएस और आरओ/एआरओ में मानकीकरण के विरोध में लगातार जारी आंदोलन की कड़ी में मंगलवार शाम छह बजे शिवाजी पार्क मम्फोर्डगंज में फिर से बैठक बुलाई गई है। बैठक में आंदोलन टीम के सदस्य प्रतियोगी छात्रों से सलाह लेकर एक नई रणनीति बनाएंगे। मानकीकरण के विरोध में ठोस निर्णय लेकर आगे बढ़ने पर विचार चल रहा है।



PCS परीक्षा पर इसी हफ्ते स्थिति स्पष्ट होने की उम्मीद, दिसंबर के पहले हफ्ते में प्रस्तावित है परीक्षा और असमंजस में अभ्यर्थी

केंद्र निर्धारण के सख्त नियमों में उलझी प्रदेश की सबसे प्रतिष्ठित परीक्षा

03 नवम्बर 2024
प्रयागराज। उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग (यूपीपीएससी) की ओर से पीसीएस प्रारंभिक परीक्षा-2024 के आयोजन को  लेकर इसी हफ्ते स्थिति स्पष्ट होने की उम्मीद है। अभ्यर्थियों को भी जानना है कि आयोग परीक्षा दो दिन में कराता है या पहले की भांति एक ही दिन में होगी।

आयोग के सूत्रों का कहना है कि एक सप्ताह में परीक्षा के आयोजन को लेकर स्थिति स्पष्ट कर दी जाएगी। बीते दिनों आयोग में धरना-प्रदर्शन करने पहुंचे अभ्यर्थियों ने पहले की भांति एक ही दिन में परीक्षा कराने की मांग की थी लेकिन तब अभ्यर्थियों के बीच पहुंचे आयोग के सचिव स्थिति पूरी तरह से स्पष्ट नहीं कर सके थे।

उन्होंने अभ्यर्थियों से कहा था कि केंद्र निर्धारण का काम चल रहा है। केंद्र निर्धारित होते ही तिथि घोषित की जाएगी। सूत्रों का कहना है कि आयोग ने प्रदेश के सभी जिलों में केंद्र बनाने के विकल्प पर भी काम किया है, ताकि परीक्षा एक ही दिन में कराई जा सके।

केंद्र निर्धारण के नियम सख्त होने से आयोग को पर्याप्त संख्या में केंद्र नहीं मिल पा रहे हैं। अगर मानक के अनुरूप केंद्र निर्धारण में अड़चन आती है तो आयोग पीसीएस प्रारंभिक परीक्षा दो दिन भी करा सकता है। हालांकि दो दिन परीक्षा कराने का निर्णय

होता है तो आयोग को अभ्यर्थियों के विरोध का सामना करना होगा, क्योंकि अभ्यर्थी नहीं चाहते हैं कि एक समान मूल्यांकन के लिए मानकीकरण (नॉर्मलाइजेशन) की व्यवस्था लागू की जाए।

यह तभी हो सकता है, जब सभी अभ्यर्थियों की परीक्षा एक ही दिन में एक पाली में पूरी करा ली जाए। ऐसी स्थिति में एक समान मूल्यांकन की जरूरत ही नहीं पड़ेगी।

सूत्रों का कहना है कि आयोग ने भी तमाम बिंदुओं ध्यान में रखकर केंद्र निर्धारण की दिशा में काम किया है। इसकी प्रक्रिया अंतिम दौर में है। दिसंबर के पहले हफ्ते में पीसीएस प्रारंभिक परीक्षा प्रस्तावित है और आयोग के पास परीक्षा पर निर्णय लेने के लिए एक माह का वक्त बचा है।

अभ्यर्थी भी असमंजस में हैं और उनकी तैयारी प्रभावित हो रही है। ऐसे में आयोग इसी हफ्ते परीक्षा के आयोजन को लेकर कोई निर्णय ले सकता है।



दिसंबर में टली तो कुंभ के बाद होगी RO व ARO परीक्षा, अभ्यर्थियों को PCS PRE परीक्षा पर भी आयोग के निर्णय का इंतजार

UPPSC पर परीक्षाओं के आयोजन को लेकर जल्द फैसला लेने का दबाव

29 अक्टूबर 2024
प्रयागराज। समीक्षा अधिकारी (आरओ)/ सहायक समीक्षा अधिकारी (एआरओ) प्रारंभिक परीक्षा-2023 उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग (यूपीपीएससी) के कैलेंडर में 22 दिसंबर को प्रस्तावित है। परीक्षा समय पर होगी या नहीं, इस पर असमंजस है। अगर परीक्षा टलती है तो महाकुंभ के बाद ही होने की उम्मीद है।

इस बीच आयोग पर पीसीएस प्रारंभिक परीक्षा-2024 के आयोजन पर निर्णय लेने का दबाव बढ़ गया है। आयोग को जल्द ही यह तय करना है कि परीक्षा कब होगी और इसका प्रारूप क्या होगा।



यह परीक्षा भी दिसंबर की शुरुआत में प्रस्तावित है। केंद्र निर्धारण से लेकर प्रारंभिक परीक्षा के आयोजन पर निर्णय लेने के लिए आयोग के पास डेढ़ माह से भी कम समय बचा है। अगर आयोग पीसीएस प्रारंभिक परीक्षा दिसंबर में कराता है तो दो हफ्ते बाद ही कैलेंडर में प्रस्तावित आरओ/एआरओ प्रारंभिक परीक्षा कराने की भी उसके सामने चुनौती होगी।

ऐसे में आरओ/एआरओ प्रारंभिक परीक्षा टलने के आसार हैं। आयोग के सूत्रों का कहना है कि पीसीएस परीक्षा के लिए केंद्र निर्धारण की प्रक्रिया पर काम चल रहा है और जल्द ही स्थिति स्पष्ट होने की उम्मीद है।

परीक्षा अगर दो दिनों में कराई जाती है तो आयोग को अलग अलग पेपर तैयार कराने होंगे। साथ ही परीक्षा के लिए अतिरिक्त संसाधनों की जरूरत पड़ेगी। अगर शासन के मानक के अनुसार पर्याप्त संख्या में केंद्रों की व्यवस्था हो जाती है तो परीक्षा पहले की भांति एक दिन में कराई जा सकेगी। वहीं, अभ्यर्थी एक दिन की परीक्षा के लिए अड़े हुए हैं।

अभ्यर्थियों का कहना है कि दो दिन की परीक्षा में एक समान मूल्यांकन के लिए मानकीकरण (नॉर्मलाइजेशन) होगा, जिससे भ्रष्टाचार को बढ़ावा मिलेगा। पिछले दिनों आयोग में छह घंटे तक धरना-प्रदर्शन और चक्काजाम करने वाले अभ्यर्थियों ने तो यह भी कहा कि आयोग चाहे तो कुछ वक्त और ले सकता है।

परीक्षा को कुछ दिनों के लिए टाल दिया जाए और पर्याप्त संख्या में केंद्रों की व्यवस्था होने के बाद एक दिन में ही परीक्षा कराई जाए। अभ्यर्थियों को अब आयोग के निर्णय का इंतजार है।

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