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Monday, July 16, 2018

प्रवक्ता व स्नातक शिक्षक के नौ पदों की बदलेगी अर्हता, यूपी बोर्ड ने मार्च में ही शासन को भेजा प्रस्ताव, कई विषय नए शुरू हुए, उसकी पढ़ाई करने

प्रवक्ता व स्नातक शिक्षक के नौ पदों की बदलेगी अर्हता, यूपी बोर्ड ने मार्च में ही शासन को भेजा प्रस्ताव, कई विषय नए शुरू हुए, उसकी पढ़ाई करने वालों को मिलेगा मौका

अर्हता तय होने तक की परीक्षा हो स्थगित


इलाहाबाद : यूपी बोर्ड के माध्यमिक कालेजों में प्रवक्ता व स्नातक शिक्षक बनने वालों के लिए खुशखबरी है। बोर्ड प्रशासन हाईस्कूल व इंटरमीडिएट से लेकर स्नातक तक में विषयों के नाम बदलने व नए-नए पाठ्यक्रमों का महत्व बढ़ाने जा रहा है। बोर्ड ने प्रवक्ता व स्नातक शिक्षक के नौ विषयों की अर्हता बदलने का प्रस्ताव शासन को भेजा है। इसकी मंजूरी मिलते ही बड़ी संख्या में अभ्यर्थियों को दावेदारी करने का मौका मिलेगा। बोर्ड ने लंबे समय से पुराने पैटर्न के विषयों में हेरफेर किया है।


माध्यमिक शिक्षा परिषद ने नौ जुलाई को माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड उप्र को पत्र भेजा जिसमें कहा गया कि हाईस्कूल स्तर पर जीव विज्ञान, संगीत सहित आठ विषय नहीं हैं। यह पत्र मिलते ही चयन बोर्ड ने 2016 विज्ञापन के इन विषयों के पद निरस्त कर दिए हैं। इसके पहले ही यूपी बोर्ड ने 20 मार्च को ही शासन को अर्हता में संशोधन के लिए प्रस्ताव भेज दिया, अफसरों को अंदाजा था कि घोषित पद निरस्त होने से अभ्यर्थी कहां जाएंगे और वह किस तरह से आवेदन कर सकेंगे। प्रस्ताव में हाईस्कूल से लेकर स्नातक तक के अद्यतन विषयों को समाहित किया गया है, ताकि अभ्यर्थियों को आवेदन में दिक्कत न हों।


■ इन विषयों का भेजा प्रस्ताव
इंटरमीडिएट : भौतिक विज्ञान, जीव विज्ञान, कृषि, चित्रकला, संगीत, नृत्य कला, नैतिक शिक्षा, खेल व शारीरिक शिक्षा। 1हाईस्कूल : कृषि, चित्रकला, विज्ञान, नैतिक शिक्षा, चित्रकला, संगीत, शारीरिक शिक्षा व खेल। 1’ इंटर के विषयों में एमएससी और हाईस्कूल में बीएससी व अन्य समकक्ष डिग्रियों को जोड़ा है। ज्यादातर में यही लिखा है कि मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से डिग्री हासिल हो। शारीरिक शिक्षा में बीपीएड, बीपीई आदि जोड़ा गया है। ऐसे ही संगीत गायन व वादन में भारतखंडे और प्रयाग संगीत समिति के अलावा कुछ अन्य डिग्रियों को समाहित किया गया है।

■ दोबारा भेज रहे अनुस्मारक
यूपी बोर्ड सचिव नीना श्रीवास्तव ने बताया कि अर्हता में संशोधन का प्रस्ताव पहले भेज चुके हैं, अब अनुस्मारक भेज रहे हैं, ताकि उसी के अनुसार माध्यमिक कालेजों में चयन प्रक्रिया चलती रहे।

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